निरसा: निरसा थाना क्षेत्र स्थित ईसीएल के मुगमा क्षेत्र के कापासारा आऊटसोर्सिंग मे अवैध खनन के दौरान चाल धंसने से बड़ा हादसा हो गया है। जहां अवैध कोयला उत्खनन के दौरान चाल धंसने से दो लोगों की मौत हो गई है, जबकि दस से बारह लोगों के दबे होने की आशंका है। घटना को लेकर स्थानीय लोगों में आक्रोश है। यहां पर सोमवार यानी आज अहले सुबह कुछ मजदूर अवैध खनन कर रहे थे। इसी दौरान खदान के पास स्थित गर्म खाद नाम के तालाब का सारा पानी आउटसोर्सिंग में समा गया। जिस कारण यह घटना घटी।
बताया गया कि रविवार-सोमवार की दरमियानी रात एक दर्जन से ज्यादा लोग खदान में अवैध खनन करने पहुंचे थे। इसी दौरान खदान की चाल (छत) धंस गई। इसके मलबे में दबकर दो लोगों की मौत हो गई। मृतकों के शव स्थानीय लोग उठा ले गए। मृतकों में एग्यारकुंड पंचायत के सियारकनाली निवासी यमुना राजवंशी और केशरकूलर निवासी तापस दास के नाम बताए जा रहे हैं। खदान में अब भी एक दर्जन लोगों के फंसे होने की बात कही जा रही है। धंसी खदान के पास लोगों की भीड़ जमा है।
इधर ईसीएल प्रबंधन का कोई जिम्मेदार अफसर समाचार लिखे जाने तक मौके पर नहीं पहुंचा है। हालांकि ईसीएल की ओर से जेसीबी मशीन भेजकर धंसी खदान के पास मिट्टी भराई का काम कराया जा रहा है। हादसे के बाद स्थानीय लोग उत्तेजित हैं। वे इस हादसे के लिए ईसीएल को ही जिम्मेदार ठहरा रहे हैं। मौके पर पहुंचे स्थानीय भाजपा नेता प्रदीप बाउरी और झामुमो नेत्री लक्खी देवी ने कहा कि इस तरह की घटनाएं आए रोज हो रही हैं, लेकिन लेकिन ईसीएल प्रबंधन की ओर से कोई व्यवस्था नहीं की जा रही है। न तो सुरक्षा की व्यवस्था है और न ही कोई दीवार या कंटीले तार की घेरेबंदी की गई है।
पिछले पांच माह से कापासारा आउटसोर्सिंग खदान बंद पड़ी है और प्रबंधन ने इसे यूं ही खुला छोड़ दिया है। यही वजह है कि यहां लोग अवैध खनन करते हुए हादसों का शिकार होते हैं। स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया कि आए दिन यहां पर इस तरह की घटनाएं होती रहती हैं, जिसमें अबतक कई लोगों की मौत हो चुकी है।