जमशेदपुर : अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस के अवसर पर टाटा स्टील फाउंडेशन (टीएसएफ) ने अपनी नवीनतम प्रकाशन “सॉन्ग्स ऑफ द फॉरेस्ट” का विमोचन किया। यह अनोखी पुस्तक देश की आदिवासी समुदायों से जुड़े समृद्ध जैव विविधता संबंधी लोककथाओं और पारंपरिक ज्ञान को संजोने और संरक्षित करने का कार्य करती है। इस पुस्तक का विमोचन गुरुवार टाटा स्टील के सुकिंदा क्रोमाइट माइंस परिसर में आयोजित एक भव्य समारोह में किया गया। यह अनूठी पहल आदिवासी समुदायों की मौखिक परंपराओं, लोककथाओं और सांस्कृतिक कहानियों को संकलित कर उन्हें भविष्य के लिए संरक्षित रखने का एक सार्थक प्रयास है। इन्हीं दुर्लभ और समृद्ध विरासतों को बचाने की तात्कालिक आवश्यकता को समझते हुए टाटा स्टील फाउंडेशन ने एक व्यापक जनसंपर्क अभियान की शुरुआत की है। जिसके तहत संस्था ने अपने कार्यक्षेत्रों के विभिन्न क्षेत्रों में आदिवासी समुदायों के बुजुर्गों, लोककथाकारों और ज्ञान संरक्षकों से संवाद स्थापित कर इन अमूल्य कहानियों को एकत्रित किया। पुस्तक का अनावरण करते हुए टाटा स्टील के फेरो एलॉयज़ एंड मिनरल्स डिवीजन के एक्जीक्यूटिव इंचार्ज पंकज सतीजा ने कहा कि यह पुस्तक केवल कहानियों का संग्रह नहीं है। यह हमारी साझा विरासत, पारंपरिक ज्ञान और प्रकृति के प्रति आदिवासी समुदायों की गहन समझ को संजोने का प्रयास है। यह हमें उस दृष्टिकोण से परिचित कराती है, जहां मानव स्वयं को प्रकृति का स्वामी नहीं, बल्कि उसका सहयात्री मानता है। यह पुस्तक हमें प्रेरित करती है कि हम भी इस धरती के योग्य सहचर बनें और इस वर्ष की थीम ‘प्रकृति के साथ समरसता और सतत विकास’ की भावना को सशक्त रूप से प्रतिबिंबित करें। इस विचार की नींव वर्ष 2023 में टाटा स्टील द्वारा आयोजित अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस समारोह के दौरान रखी गई थी। उस अवसर पर कंपनी ने एक विशेष कहानी सत्र का आयोजन किया था। जिसमें विभिन्न आयु वर्ग के प्रतिभागियों बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक ने भाग लिया था। जिसका उद्देश्य जैव विविधता के महत्व को समझना, साझा अनुभवों के माध्यम से प्रकृति के साथ हमारे संबंधों को गहराई से जानना और पारंपरिक ज्ञान की विरासत की सराहना करना था।