गिरिडीह: प्रवासी मजदूरों की मौत का सिलसिला थमता नजर नहीं आ रहा है। इसी क्रम में गिरिडीह जिले के बगोदर थाना क्षेत्र अंतर्गत दामा के मजदूर की हैदराबाद में मंगलवार को हैदराबाद में मौत हो गयी। मिली जानकारी के अनुसार बगोदर थाना क्षेत्र अंतर्गत दामा प्रीतम रविदास के 22 वर्षीय पुत्र किशुन रविदास की ट्रेन की चपेट में आने से हैदराबाद में मौत हो गयी। मौत की सूचना मिलते ही परिजनो का रो-रोकर बुरा हाल है तो वहीं गांव में शोक का माहौल हैं। मृतक रेलवे डब्बा में त्रिपाल ढकने का काम करता था। मृतक अपने पीछे पत्नी सपना देवी ,पुत्र सरवन रविदास (04) और पुत्री संगीता कुमारी(02) को छोड़ गया। इस घटना को लेकर प्रवासी मजदूरों के हित में कार्य करने वाले समाजसेवी सिकन्दर अली संवेदना प्रकट करते हुए करते हुए कहा कि झारखंड के नौजवानों की मौत के मुंह में समा जाने की यह पहली घटना नहीं है। इससे पहले भी कई लोगों की मौत हो चुकी है।रोजी-रोटी की तलाश में परदेस गये प्रवासी झारखंडी मजदूरों की मौत का सिलसिला जारी है। हर रोज झारखंड के किसी न किसी इलाके से प्रवासी मजदूर की दूसरे राज्यों या विदेश में मौत की खबरें आ रही है। प्रवासी मजदूरों की सबसे ज्यादा तादाद बोकारो, गिरिडीह और हजारीबाग जिले से रोजी कमाने गये लोगों की है। अपना घर छोड़कर परदेस गये इन मजदूरों की जिंदगी तो कष्ट में बीतती ही है, मौत के बाद भी उनकी रूह को चैन नसीब नहीं होता है। किसी की लाश हफ्ते भर बाद आती है, तो किसी को ढाई से तीन महीने भी लग जाते हैं। ऐसे में सरकार को रोज़गार के ऐसी व्यवस्था करनी चाहिए। ताकि मजदूरो का पलायन रोका जा सके।
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