हनुमान जी की उपासना का उद्देश्य

सुनील बर्मन धनबाद: 17 अप्रैल को श्रीरामनवमी संपन्न हुई । युगों से जिनके दैवी अवतारत्व का चिन्ह जनमानस में अंकित है, वे अयोध्या के राजा प्रभु श्रीरामचंद्र इस घोर कलियुग में भी श्रीरामनवमी के निमित्त पुनः एक बार प्रत्येक के मन में अंतस्थ विराजमान हो गए हैं । अब श्रीराम भक्त महाबली हनुमान जी का अवतरण होगा । 23 अप्रैल को हनुमान जयंती है । जिनका मंत्र ‘रामभक्ति’ तथा धुन ‘रामसेवा’ ही है, वे हनुमानजी हैं । प्रभु श्रीराम के राज्याभिषेक के पश्चात उनके श्रीचरण कमलों में बैठकर हनुमान जी…

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