गिरिडीह:- मुखिया चुनाव संपन्न हुए देढ़ वर्ष से अधिक समय हो गया है लेकिन सरकार के द्वारा अब तक मुखिया को ग्राम पंचायतों का विकास करने के लिए पर्याप्त फंड नहीं दिया गया है। वर्तमान परिस्थिति ऐसी है कि फंड के अभाव में हर तरफ त्राहिमाम है। पंचायत का विकास एवं पंचायत वासियों को मिलने वाली सरकारी योजनाएं और सुविधाएं लगभग न के बराबर है। यदि आगे भी सरकार का रवैया ऐसा ही रहा तो आगामी पंचायत चुनाव में मुखिया तो क्या वार्ड का चुनाव जीतना भी हम लोगों के लिए मुश्किल हो जाएगा।
उपर्युक्त बातें जमुआ प्रखंड अंतर्गत ग्राम पंचायत चकमंजो के मुखिया प्रतिनिधि मो. बारीक अंसारी ने कही। उन्होंने आगे कहा कि जनता विकास चाहती है और विकास फंड से होता है। पर्याप्त फंड के अभाव में विकास की कल्पना भी नहीं की जा सकती है। ये बातें पंचायत की भोली-भाली जनता नहीं जानती है। उन्हें लगता है कि मुखिया कोई काम नहीं कर रहा है। बात भी सही है राज्य सरकार ने वर्तमान समय में मुखिया को एक तरह से अपंग कर दिया है। न कोई फंड है और न कोई योजना। जनता मुंह देखकर वोट नहीं देती है। वे काम और विकास के आधार पर अपना जनप्रतिनिधि चुनती है।
वर्तमान समय में ग्राम पंचायतों का विकास जिस तरह से अवरूद्ध और बाधित है वैसा इतिहास में पहले कभी नहीं हुआ है।